नैनीताल के Bhimtal में नरभक्षी जानवर का खौफ बढ़ता जा रहा है, जिसके चलते गांव के लोग अपने-अपने घरों में कैद होकर रह गए हैं। विकासखंड Bhimtal के अलचौना क्षेत्र के ताड़ा गांव में नरभक्षी का खौफ बढ़ता जा रहा है। पिछले कई दिनों में गुलदार ने कई लोगों को अपना निवाला बनाया। क्षेत्र वासियों का कहना है कि नरभक्षी के दर के चलते वह जानवरों के लिए चारा लेने के लिए जंगल भी नहीं जा पा रहे हैं। जिसके चलते सरकार ने सब्सिडी पर चारा देने का निर्णय लिया है।
Bhimtal में मवेशियों को पालना हो रहा मुश्किल
Bhimtal में बढ़ते गुलदार के आतंक को देखते हुए कई गांव वालों ने शुक्रवार को अपने जानवरों को बाजपुर के गौशाला में भेज दिया है, की मवेशियों को गौशाला में भेजने के लिए भी 5 हजार रुपए का खर्च हो रहा है। ऐसे में मवेशियों को पालना भी मुश्किल है और भेजना भी। ग्रामीणों का कहना है कि नरभक्षी के डर के कारण वह जंगल नहीं जा पा रहे हैं कुछ महिलाएं मजबूरी के चलते चारा लेने के लिए समूह बनाकर जंगल जाती हैं यही नहीं खेती बाड़ी के लिए भी खेत में जाना मुश्किल हो गया है। शाम होते ही सभी ग्रामीण दहशत के कारण अपने-अपने घरों में कैद हो जाने को मजबूर हो गए हैं।
सब्सिडी पर सरकार दे रही चारा
गुलदार के बढ़ते आतंक के चलते सरकार ने नरभक्षी प्रभावित गांवों में नैनीताल दूध उत्पादक सहकारी संघ लिमिटेड लाल कुआं की ओर से भविष्य के लिए 100 बैग भूसा और 25 कुंतल साइलेज हरा चारा सब्सिडी पर दिया है। ग्राम प्रधान राधा कुल्याल ने दूध उत्पादों से नरभक्षी के पकड़े जाने या ट्रेंकुलाइज होने तक जंगल ना जाने की अपील की है।
यही नहीं राज भवन में पिछले एक सप्ताह से गोल प्रैक्टिस भी बंद कर दी गई है और साथ ही रखरखाव कार्य को करने वाले स्टाफ को भी समूह में काम करने की हिदायत दी गई है। राज भवन गोल्फ क्लब के कैप्टन कर्नल हरीश शाह ने बताया कि गुलदार का आतंक है। आशंका है कि भीमताल क्षेत्र से भी गुलदार विचरण करता आ सकता है, ऐसे में गोल्फ मैदान पर प्रेक्टिस बंद की गई है।
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