Dhami Government Takes Action On Speed Braker: उत्तराखंड में बढ़ते जा रहे सड़क हादसों को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार के द्वारा बड़ा फैसला लिया गया है राज्य में संवेदनशील क्षेत्रों में अब स्पीड ब्रेकर मनवाने तरीके से नहीं बनाए जाएंगे साथ ही धामी सरकार के द्वारा दिए गए निर्देशों के अनुसार लोक निर्माण विभाग की ओर से सभी डिवीजन के अभियंताओं को इस इससे जुड़े दिशा निर्देश जारी किए गए हैं।
लोक निर्माण विभाग के द्वारा जारी किए गए दिशा निर्देशों के अनुसार वाहनों की रफ्तार कम करने के लिए बनाए जा रहे पांच श्रेणी के स्पीड ब्रेकर–रंबल स्ट्रिप की ज्यादातर ऊंचाई 5 मिलीमीटर से 10 सेमी ही रहेगी। आपको बता दें प्रमुख अभियंता राजेश चंद्र के द्वारा सभी अभियंताओं के लिए पांच पेज की गाइडलाइन जारी की गई है, जिसके अंतर्गत इंडियन रोड कांग्रेस के मानकों का पालन करने के निर्देश दिए गए हैं।
लोक निर्माण विभाग के प्रमुख अभियंता राजेश चंद्र के द्वारा जारी किए गए गाइडलाइन के अनुसार अपने क्षेत्र में जरूर का आकलन करने पर ही स्पीड ब्रेकर और हंप बनाए जाने के निर्देश दिए गए हैं। इसके साथ ही उसमें कहा गया है की स्पीड ब्रेकर के निर्माण में इंडियन रोड कांग्रेस 2018 के मानकों का शक्ति से पालन किया जाए।
इन मानकों का रखा जाएगा ध्यान |
–सरक्यूलर हंप ऐसे ब्रेकर का निर्माण वाहनों की पासिंग स्पीड के आधार पर होता है। अधिकतम ऊंचाई
40 सेंटीमीटर से ज्यादा नहीं होनी चाहिए।
–ट्रैप्जोइडल हंप इसे भी उन स्थानों पर बनाया जाएगा, जिन सड़कों पर यातायात का बहुत दबाव होता
है। इसकी न्यूनतम लंबाई 2.50 मीटर होगी और हंप के फ्लैट हिस्से की ऊंचाई 50 से 00 एमएम रखी
जा सकती है।
– रंबल स्ट्रिप इनका निर्माण नेशनल हाईवे और अत्यधिक यातायात दबाव वाली सड़कों पर होता है। हर
स्ट्रिय की ऊंचाई 20 से लेकर 30 एमएम रहेगी।
–ट्रांसवर्स बार मार्किंग इसे थर्मोप्लास्टिक पेंट से बनाया जाता है। इसके एक सेट में छह बार होते हैं। इस
पेंट की मदद से सड़क पर 5 एमएम ऊंचाई का स्ट्रक्चर बन जाता है।
–स्पीड ट्रबल इसे ऐसे रूट पर बनाया जाता है, जहां बसें ज्यादा चलती हैं। इसकी लंबाई बस के व्हील
बेस की लंबाई से अधिक रखी जाती है।