11 मार्च (CAA) को केंद्र सरकार के द्वारा बड़ा फैसला लिया गया जिसके चलते पूरे देश में नागरिकता अधिनियम सीएए को पूरे देश में लागू कर दिया गया है। सीएए पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आए बिना दस्तावेज वाले गैर मुस्लिम प्रवासियों को नागरिकता देने के लिए बनाए गया है। CAA
क्या है नागरिकता संशोधन अधिनियम | CAA
नागरिकता संशोधन अधिनियम सीएए के तहत 31 दिसंबर 2014 से पहले बांग्लादेश, अफगानिस्तान और पाकिस्तान से भारत आए 6 धार्मिक अल्पसंख्यक जैसे हिन्दू, सिख, बुद्धिस्ट, जैन, पारसी और ईसाई आदि को भारतीय नागरिकता भारत सरकार के द्वारा दी जाएगी। यह संविधान की छठी अनुसूची में शामिल असम मेघालय मिजोरम और त्रिपुरा के आदिवासी क्षेत्रों और बंगाल ईस्टर्न फ्रंटियर रेगुलेशन 1873 के तहत इनर लाइन में आने वाले सभी क्षेत्रों पर लागू नहीं किया जाएगा। CAA
(Citizenship Amendment Act) सीएए के तहत 11 साल से लेकर 5 साल तक के लिए प्राकृतिकरण के लिए निवास की आवश्यकता में संशोधन में डील देता है। अपने देश में अपने देश में धार्मिक उत्पीड़न या धार्मिक उत्पीड़न का डर रखने वाले लोगों को जो की 30 दिसंबर 2014 तक भारत में आने वाले सभी लोगों को भारत के मूल नागरिक बनने का पात्र बनता है। भारत सरकार आगामी 6 सालों में सभी प्रकार के प्रवासियों को फास्ट ट्रेक इंडियन नागरिकता देगी। CAA